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Batuk bhairav yantra for durga blessing & protection

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बटुक भैरव यंत्र

इस बटुक भैरव यंत्र को ११०१ बार बटुक भैरव मंत्र से सिद्ध (energized) किया गया है। ये यंत्र भगवान बटुक भैरव को समर्पित एक शक्तिशाली यंत्र है। भगवान बटुक भैरव, भगवान शिव के रौद्र रूप भैरव के बाल रूप माने जाते हैं और इनकी पूजा से जीवन में सभी प्रकार की नकारात्मक शक्तियों, बाधाओं और दुश्मनों से रक्षा होती है। यह यंत्र विशेष रूप से उन लोगों के लिए लाभकारी है जो दुर्गा कृपा, सुरक्षा, समृद्धि, और बाधाओं से मुक्ति की कामना करते हैं।

मंत्र: इस यंत्र पर अंकित मंत्र भगवान बटुक भैरव की आराधना और उनकी कृपा प्राप्त करने के लिए होते हैं। इनमें से कुछ प्रमुख मंत्र इस प्रकार हो सकते हैं:

    • “ॐ हं बटुकाय आपदुद्धारणाय कुरु कुरु नमः” “OM HAMM BATUKAAY AAPADAA UDDHARANAAY KUR KURU NAMAHA”
  • उपयोग: बटुक भैरव यंत्र को पवित्र स्थान पर स्थापित करना चाहिए। इसे प्रतिदिन प्रातः और सायं काल में धूप, दीपक, और पुष्प अर्पित करके पूजन करना चाहिए। इसे पहनने या अपने पूजा स्थल में रखने से सकारात्मक ऊर्जा और भगवान बटुक भैरव की कृपा प्राप्त होती है।

लाभ

    • जीवन में आने वाले सभी प्रकार के संकटों और बाधाओं का नाश होता है।
    • नकारात्मक ऊर्जा और बुरी शक्तियों से रक्षा होती है।
    • शत्रुओं पर विजय प्राप्त होती है।
    • मानसिक शांति और आत्मिक बल की वृद्धि होती है।
    • आर्थिक समस्याओं से मुक्ति और समृद्धि की प्राप्ति होती है।
    • परिवार में सुख-शांति और समृद्धि का वास होता है।
    • स्वास्थ्य लाभ और रोगों से मुक्ति मिलती है।
    • कार्यों में सफलता और उन्नति प्राप्त होती है।
    • घर और परिवार में सकारात्मक ऊर्जा का संचार होता है।
    • आत्मबल और आत्मविश्वास में वृद्धि होती है।

पूजन विधि

  1. यंत्र को किसी शुभ मुहूर्त में, खासकर रविवार या मंगलवार के दिन, स्थापित करें।
  2. यंत्र को गंगा जल या किसी पवित्र जल से स्नान कराएं।
  3. यंत्र के सामने धूप, दीप और पुष्प अर्पित करें।
  4. यंत्र के बीज मंत्र या भगवान बटुक भैरव के नाम का जप करें।
  5. ॐ हं बटुकाय आपदुद्धारणाय कुरु कुरु नमः” “OM HAMM BATUKAAY AAPADAA UDDHARANAAY KUR KURU NAMAHA” मंत्र का कम से कम 108 बार जप करें।

बटुक भैरव यंत्र से संबंधित अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न (FAQ)

बटुक भैरव यंत्र क्या है?
बटुक भैरव यंत्र भगवान भैरव को समर्पित एक पवित्र यंत्र है। यह यंत्र विशेष रूप से बटुक भैरव, जो भगवान शिव का एक उग्र रूप हैं, की पूजा के लिए उपयोग किया जाता है। यह यंत्र सुरक्षा, सफलता, समृद्धि और बुरी शक्तियों से बचाव के लिए धारण किया जाता है।

बटुक भैरव यंत्र के लाभ क्या हैं?
1. सुरक्षा: यह यंत्र नकारात्मक ऊर्जाओं और बुरी शक्तियों से रक्षा करता है।
2. समृद्धि: इसे धारण करने से आर्थिक समृद्धि और सफलता मिलती है।
3. शत्रुओं से रक्षा: यह शत्रुओं के दुष्प्रभाव से बचाता है और उनका नाश करता है।
4. मन की शांति: यह यंत्र मानसिक शांति और संतुलन प्रदान करता है।
5. न्याय: बटुक भैरव यंत्र न्याय प्राप्त करने में सहायक होता है।

बटुक भैरव यंत्र का उपयोग कैसे करें?
1. शुद्धिकरण: यंत्र को धारण करने या स्थापित करने से पहले इसे गंगाजल से शुद्ध करें।
2. पूजा: प्रतिदिन सुबह और शाम यंत्र की पूजा करें। यंत्र के सामने दीपक और अगरबत्ती जलाएं।
3. मंत्र: बटुक भैरव मंत्र का जाप करें, जैसे “ॐ बटुक भैरवाय नमः”। नियमित रूप से 108 बार जाप करना लाभकारी होता है।
4. स्थान:यंत्र को अपने घर या पूजा स्थल पर स्थापित करें। इसे अपने पास भी धारण कर सकते हैं, जैसे कि लॉकेट के रूप में।

बटुक भैरव यंत्र को कौन उपयोग कर सकता है?
बटुक भैरव यंत्र कोई भी व्यक्ति धारण कर सकता है, विशेष रूप से वे लोग जो सुरक्षा, आर्थिक समृद्धि, और शत्रुओं से रक्षा की कामना रखते हैं। इसे धारण करने के लिए किसी विशेष पात्रता की आवश्यकता नहीं है।

बटुक भैरव यंत्र कब स्थापना करना चाहिए?
यंत्र को किसी शुभ मुहूर्त में स्थापना करना चाहिए। शनिवार, भैरव अष्टमी, या किसी विशेष त्योहार के दिन इसे स्थापना करना अधिक शुभ माना जाता है।

बटुक भैरव यंत्र कहां से प्राप्त करें?
बटुक भैरव यंत्र धार्मिक स्थलों, आध्यात्मिक दुकानों, या ऑनलाइन स्टोर्स जैसे कि DivyayogaStore.com से प्राप्त किया जा सकता है। यंत्र को खरीदने से पहले उसकी प्रामाणिकता की जांच करें।

बटुक भैरव यंत्र की पूजा विधि क्या है?
1. स्थान: स्वच्छ स्थान पर बैठें और यंत्र को अपने सामने रखें।
2. शुद्धिकरण: यंत्र को गंगाजल से शुद्ध करें।
3. दीपक और अगरबत्ती: यंत्र के सामने दीपक और अगरबत्ती जलाएं।
4. पुष्प अर्पण: यंत्र पर पुष्प अर्पित करें।
5. मंत्र जाप: बटुक भैरव मंत्र का जाप करें।
6. प्रसाद: पूजा के बाद प्रसाद चढ़ाएं और फिर बांटें।

क्या बटुक भैरव यंत्र के कोई दुष्प्रभाव हैं?
यदि सही तरीके से पूजा और धारणा की जाए, तो बटुक भैरव यंत्र के कोई दुष्प्रभाव नहीं होते। इसे धारण करने से पहले किसी विशेषज्ञ से परामर्श अवश्य करें।

अंत मे

बटुक भैरव यंत्र का सही तरीके से पूजन और उपयोग करने से व्यक्ति को भगवान बटुक भैरव की कृपा प्राप्त होती है और जीवन में सुख, शांति, समृद्धि, और सुरक्षा मिलती है। इस यंत्र को शुभ मुहूर्त में और सही विधि से स्थापित करने से इसका अधिकतम लाभ प्राप्त किया जा सकता है।

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